प्रत्येक वस्तु जिसका खुद का द्रव्यमान हो तथा वह स्थान घेरती हो पदार्थ/द्रव्य/Matter है । Ex. Pen, Notebook, Table, Stone, Mobile etc
Characteristics of Matter/पदार्थ के अभिलक्षण :
- प्रत्येक पदार्थ छोटे-छोटे कणों से मिलकर बना होता है ,इन कणों को अवयवी कण (परमाणु,अणु, आयन) कहते हैं।
- इन कणों के मध्य अन्तराणविक आकर्षण बल/Inter Molecular Attraction Force पाया जाता है।
- प्रत्येक पदार्थ के पास आयतन, द्रव्यमान व घनत्व होता है।
States of Matter/पदार्थ की अवस्थाएं
भौतिक अवस्थाओं के आधार पर Matter को 3 भागों में बांटा गया है –
- ठोस
- द्रव
- गैस
इन 3 अवस्थाओं के अलावा पदार्थ की 2 ओर अवस्थाएं बताई गई हैं –
- प्लाज्मा
- बोस आइंस्टीन कण्डनसेट
Solid State of Matter/ठोस अवस्था:-
– यह पदार्थ की सबसे व्यवस्थित अवस्था है।
– ठोस अवस्था में पदार्थ के अवयवी कणों के मध्य प्रबल अन्तराण्विक आकर्षण बल पाया जाता है जिसके कारण ठोस कण अत्यधिक नजदीक होते हैं एवं एक निश्चित ज्यामिति बनाते हैं।
– ठोस का आकार, आयतन एवं घनत्व निश्चित होते हैं।
– ठोस पदार्थ असम्पीड्य होते हैं।
– ठोस की अवस्था ताप के कारण परिवर्तित होती है किन्तु दाब के कारण ठोस अवस्था में कोई परिवर्तन नहीं होता है इसलिए ठोस असम्पीड्य होते हैं।
उदाहरण- बर्फ को ताप देने पर वह जल में परिवर्तित हो जाता है।
– ठोस सामान्यतया कठोर होते हैं।
– ठोसों में बहने का गुण नहीं पाया जाता है। (अपवाद- अक्रिस्टलीय ठोस जैसे काँच में बहने का गुण विद्यमान होता है, यह सामान्यतया धीरे-धीरे बहते हैं इस कारण इन्हें अतिशीतित द्रव अथवा आभासी ठोस कहा जाता है।)
– ठोसों में उच्च अन्तराण्विक आकर्षण बल के कारण इनका गलनांक उच्च होता है।
उदाहरण- पत्थर, बर्फ, पेन, चॉक, चीनी आदि।
ठोसों का वर्गीकरण:-
ज्यामिति के आधार पर ठोस दो प्रकार के होते हैं-
- क्रिस्टलीय ठोस
- अक्रिस्टलीय ठोस
क्रिस्टलीय ठोस:– ऐसे ठोस जिनकी ज्यामिति संरचना निश्चित होती है, क्रिस्टलीय ठोस कहलाते हैं। उदाहरण- नमक, हीरा, बर्फ, ग्रेफाईट।
अक्रिस्टलीय ठोस:– ऐसे ठोस जिनकी ज्यामिति संरचना अनिश्चित होती है, अक्रिस्टलीय ठोस कहलाते हैं। उदाहरण- कोयला, काँच, रबर, प्लास्टिक आदि।
Liquid State of Matter/द्रव अवस्था:-
– पदार्थ की वह अवस्था जिसमें तरलता का गुण होता है, द्रव अवस्था कहलाती है।
– द्रव पदार्थों का आकार अनिश्चित होता है। यह पात्र पर निर्भर करता है।
– द्रव पदार्थ का आयतन निश्चित होता है।
– द्रव पदार्थ में अवयवी कणों के मध्य आकर्षण बल कम होता है अर्थात् कण दूर-दूर होते हैं।
– द्रव असम्पीड्य होते हैं।
– द्रव में बहने का गुण पाया जाता है।
श्यानता:-
– द्रव की सतह तथा जिस सतह पर द्रव बह रहा है उनके मध्य घर्षण, श्यानता कहलाता है।
– यदि कोई पदार्थ तीव्र गति से प्रवाहित होता है तो उसकी श्यानता कम होती है।
– श्यानता तरलता पर निर्भर करती है। अर्थात् तरलता बढ़ने पर श्यानता घटती है।
Gas State of Matter/गैसीय अवस्था:-
– गैसीय अवस्था में पदार्थ के कणों के मध्य अन्तराण्विक आकर्षण बल का मान कम होता है अर्थात् कण दूर-दूर होते हैं।
– गैसीय पदार्थ का आकार अनिश्चित होता है।
– गैसीय पदार्थ का आयतन अनिश्चित होता है।
उदाहरण- वायु, हाइड्रोजन, ऑक्सीजन, नाइट्रोजन आदि।
– गैसें गर्म करने पर ठोस और द्रव की अपेक्षा अधिक फैलती है क्योंकि इनमें द्रव और ठोस की अपेक्षा अन्तराण्विक बल दुर्बल होते हैं।
प्लाज्मा:-
– प्लाज्मा की खोज विलिमय क्रूक्स ने की।
– प्लाज्मा का नामकरण इरविन लेग्इम्यूर ने किया था।
– प्लाज्मा लेटिन भाषा के शब्द प्लाज्मिक से लिया गया है जिसका अर्थ है चमकता हुआ।
– प्लाज्मा पदार्थ/Matter की चौथी अवस्था है।
– यह ब्रह्माण्ड में सर्वाधिक मात्रा में पाई जाने वाली अवस्था है।
– यह अवस्था आयनिक अवस्था होती है अर्थात् पदार्थ की एकमात्र अवस्था जिसमें आयन तथा इलेक्ट्रॉन परस्पर स्वतंत्र रहते हैं।
– प्लाज्मा पदार्थ/Matter की एकमात्र अवस्था है जिसमें पूर्ण रूप से विद्युत का चालन होता है।
– रेडियो तरंगों के लिए प्लाज्मा उत्तरदायी है।
– उच्च ताप के कारण तारों पर भी प्लाज्मा अवस्था पाई जाती है।
– निऑन बल्ब तथा CFL में प्लाज्मा का उपयोग किया जाता है।
बोस-आइन्स्टीन-कन्डेन्सेट (B.E.C.):-
– यह पदार्थ/Matter की 5वीं अवस्था है।
– इसका नाम भारतीय वैज्ञानिक प्रोफेसर सत्येन्द्र नाथ बोस एवं अल्बर्ट आइन्स्टीन के सम्मान में रखा गया।
– यदि किसी गैस को परम शून्य ताप, अति उच्च दाब पर गर्म एवं उच्च वोल्टता प्रदान की जाती है तो प्राप्त अवस्था B.E.C. होती है।
– आइन्स्टीन की द्रव्यमान ऊर्जा संरक्षण के आधार पर यह अवस्था प्राप्त होती है।
– सन् 2001 में एरिक कर्नेल, उल्फगैंग केटरले एवं कार्ल.ई.वैमेन ने सर्वप्रथम B.E.C. अवस्था बनाई। इसके लिए उन्हें नोबेल पुरस्कार से सम्मानित किया गया।
Chemistry Practice Questions
Science Practice Quiz
States Of Matter important Points(पदार्थ की अवस्था से सम्बंधित महत्वपूर्ण बिंदु)
1. ठोस असंपीड्य होते हैं।
2. द्रव का आकार निश्चित नहीं होता लेकिन आयतन निश्चित होता है ।
3.गैस का आयतन व आकार दोनों अनिश्चित होते हैं ।
4.प्लाज़्मा को पदार्थ की चौथी अवस्था कहा जाता है।
5. प्लाज्मा की खोज विलिमय क्रूक्स ने की।
6. प्लाज्मा का नामकरण इरविन लेग्इम्यूर ने किया था।
7. BEC. पदार्थ की 5वीं अवस्था है। इसका नाम भारतीय वैज्ञानिक प्रोफेसर सत्येन्द्र नाथ बोस एवं अल्बर्ट आइन्स्टीन के सम्मान में रखा गया।
8. पीतल में तांबे(Cu) व जस्ते(Zn) का मिश्रण होता है।
9.Mixture में उनके अवयवों के गुण विद्यमान होते हैं तथा मूल अवयवों को Mixture से आसानी से अलग किया जा सकता है।
10.द्रव असम्पीड्य होते हैं यानी इन्हें दबाया नहीं जा सकता |
read more : Classification of Matter l पदार्थो का वर्गीकरण
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